बिहार में मानसून ने एक बार फिर जोर पकड़ लिया है। मौसम विभाग ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में 28 अगस्त तक बारिश और वज्रपात की संभावना जताई है। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि अगले कुछ दिनों तक प्रदेश के कई जिलों में मध्यम से भारी वर्षा हो सकती है।
येलो और ऑरेंज अलर्ट जारी
भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने बिहार के कई जिलों के लिए येलो और ऑरेंज अलर्ट जारी किया है।
येलो अलर्ट का मतलब है कि लोगों को सतर्क रहने की जरूरत है।
ऑरेंज अलर्ट अधिक गंभीर होता है, जिसमें प्रशासन और नागरिकों दोनों को एहतियाती कदम उठाने की हिदायत दी जाती है।
इन जिलों में अधिक प्रभाव
उत्तर बिहार के जिलों – सीतामढ़ी, मधुबनी, सुपौल, अररिया, किशनगंज, पूर्णिया, कटिहार, सहरसा, दरभंगा – में भारी बारिश और वज्रपात की संभावना अधिक जताई गई है। वहीं दक्षिण और मध्य बिहार – पटना, नालंदा, गया, नवादा, रोहतास, भोजपुर, औरंगाबाद – में भी बारिश के साथ वज्रपात हो सकता है।
लोगों से सतर्क रहने की अपील
मौसम विभाग और आपदा प्रबंधन विभाग ने लोगों को सुरक्षा उपाय अपनाने की सलाह दी है—
बारिश और वज्रपात के दौरान खुले स्थानों पर न जाएं।
पेड़ों के नीचे खड़े होने से बचें।
किसान और ग्रामीण बिजली के खंभों, ट्रांसफार्मर और जलाशयों से दूरी बनाए रखें।
मोबाइल फोन का उपयोग खुले में वज्रपात के दौरान न करें।
प्रशासन की तैयारी
आपदा प्रबंधन विभाग ने सभी जिला प्रशासन को निर्देश दिया है कि वे राहत एवं बचाव दल को अलर्ट मोड में रखें। इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में माइकिंग के जरिए लोगों को वज्रपात से बचाव के उपाय बताए जा रहे हैं।
आर्थिक और सामाजिक असर
लगातार हो रही बारिश से कई जगहों पर जलजमाव की स्थिति बन रही है, जिससे आम जनजीवन प्रभावित हो रहा है। वहीं, धान की रोपाई करने वाले किसानों को मानसून की यह बरसात राहत भी दे सकती है।
फिलहाल बिहार में मानसून पूरी तरह सक्रिय है और अगले कुछ दिनों तक इसका असर राज्यभर में देखने को मिलेगा।