Sunday, July 27, 2025
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पटना में ₹100 करोड़ का महाघोटाला — EOU की बड़ी सफलता, पूर्व बैंक अधिकारी सैयद शाहनवाज वजी गिरफ्तार

पटना में आर्थिक अपराध इकाई (EOU) ने 22 जुलाई को एक बड़ी सफलता हासिल करते हुए ₹100 करोड़ से अधिक की ठगी के मास्टरमाइंड और पूर्व बैंक अधिकारी सैयद शाहनवाज वजी को पटना जंक्शन पर ट्रेन से उतरते ही गिरफ्तार कर लिया। यह गिरफ्तारी LIC और बैंकिंग प्रणाली से जुड़ी फर्जी बीमा पॉलिसी और खाता धोखाधड़ी की एक जटिल योजना का पर्दाफाश करती है, जिसका जाल भारत, पश्चिम बंगाल और नेपाल तक फैला हुआ है।

 गिरफ्तारी की घटनाक्रम

EOU को गुप्त सूचना मिली थी कि आरोपी सैयद शाहनवाज वजी (उम्र 54) एक ट्रेन से पटना आने वाला है।

जैसे ही वह कोलकाता-पटना ट्रेन से उतरा, EOU की टीम ने उसे प्लेटफॉर्म पर ही घेरकर गिरफ़्तार कर लिया।

प्रारंभिक पूछताछ में वह फर्जी नाम और पहचान पत्र से भ्रम फैलाने की कोशिश कर रहा था, लेकिन टीम पहले से तैयार थी।

ठगी का तरीका — बीमा पॉलिसी और डुप्लीकेट खाता नेटवर्क

सैयद वजी, एक पूर्व बैंक मैनेजर और LIC एजेंट, ने मिलकर ऐसा नेटवर्क खड़ा किया था जो नकली बीमा पॉलिसियाँ बनाता और मृत व्यक्तियों के नाम पर दावा (क्लेम) कर रकम हड़पता था।

कुछ मामलों में जाली मृत्यु प्रमाण पत्र और फर्जी नामों का उपयोग कर बीमा का पैसा निकाला जाता था।

कई एजेंटों और बैंक कर्मचारियों के साथ मिलकर उसने फर्जी ग्राहक, फर्जी हस्ताक्षर, और जाली खाता संख्या बनवाकर पैसा सीधे अपने अकाउंट या सहयोगियों के खातों में ट्रांसफर करवाया।

नेटवर्क का विस्तार – तीन राज्यों और नेपाल तक

EOU की जांच में खुलासा हुआ कि सैयद वजी का नेटवर्क बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल के अलावा नेपाल में भी सक्रिय था।

उसने 1000 से ज्यादा पॉलिसियाँ बनवाईं, जिनमें से 200 से अधिक पॉलिसियों पर फर्जी क्लेम पास किया गया।

उसे बॉर्डर इलाकों में एजेंटों और दलालों की मदद से गरीब और अनपढ़ लोगों की पहचान का गलत इस्तेमाल करने में महारत हासिल थी।

जब्त दस्तावेज़ और सामग्री

जब्त सामग्री विवरण

मोबाइल 4 स्मार्टफोन जिनमें लेन-देन से जुड़े डेटा
दस्तावेज़ LIC पॉलिसी बुक, क्लेम फॉर्म, मृत्यु प्रमाण पत्र की प्रतियाँ
खाते 11 बैंक खातों का विवरण, जिनसे लेन-देन हुआ
पासपोर्ट दो फर्जी पासपोर्ट और विदेश यात्रा का रिकॉर्ड
लैपटॉप जिसमें एक्सेल शीट्स में लाभार्थियों और खातों की जानकारी थी

पुलिस/EOU की प्रतिक्रिया

EOU के SP नीरज कुमार सिंह ने कहा:
“यह देश के सबसे बड़े बीमा ठगी मामलों में से एक है। हमने कई राज्यों से समन्वय कर आरोपी को ट्रैक किया और दस्तावेज़ों की फोरेंसिक जांच जारी है। हमें यकीन है कि जल्द ही इस नेटवर्क के अन्य सदस्य भी पकड़ में आ जाएंगे।”

अगली कार्रवाई

आरोपी को पटना CJM कोर्ट में पेश कर 7 दिनों की पुलिस रिमांड पर लिया गया है।

IT विभाग, LIC, और बैंकिंग इंटेलिजेंस यूनिट की टीमें भी इस केस में शामिल हो चुकी हैं।

जल्द ही इससे जुड़े 10 से अधिक एजेंटों और दलालों की गिरफ्तारी भी संभावित है।

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